November 7, 2024

कारगिल विजय दिवस पर योद्धाओं का शौर्य याद कर दोहराई राष्ट्रीय प्रतिज्ञा

कोरबा 27 जुलाई। कारगिल विजय दिवस पर सुभाष चौक में नेशनल कैडेट कार्प के छात्र सैनिकों ने एक कार्यक्रम आयोजित किया। यहां उन्होंने उन वीर बलिदानियों को स्मरण करते हुए श्रद्धांजलि अर्पित की, जिन्होंने कारगिल के युद्ध में खुद को न्यौछावर कर दिया। इस दौरान शासकीय ईवीपीजी कालेज के एनसीसी अधिकारी डा संजय यादव, उनके एनसीसी कैडेट्स, प्रथम छत्तीसगढ़ बटालियन एनसीसी कोरबा के अधिकारी, सेना के पूर्व सैनिक व आम नागरिकों ने भी मौजूदगी दर्ज कराते हुए राष्ट्रीय प्रतिज्ञा दोहराई। देश की एकता व अखंडता अक्षुण बनाए रखने का संकल्प लिया गया।

कारगिल युद्ध भारत और पाकिस्तान के बीच मई और जुलाई 1999 के बीच हुए कश्मीर के कारगिल जिले में हुए सशस्त्र संघर्ष का नाम है। कारगिल युद्ध को विजय दिवस के रूप में भी याद किया जाता है। विजय दिवस की वर्षगांठ पर उन वीर सपूतों को याद किया गयाए जिन्होंने देश की आन के लिए खुद को बलिदान कर दिया। इस संघर्ष में इस युद्ध में 527 जवान वीरगति को प्राप्त हुए और 1300 से अधिक घायल हुए थे। इनमें छत्तीसगढ़ व कोरबा के भी सिपाहियों ने वीरता का परिचय देते हुए हर मोर्चे पर दुश्मनों के छक्के छुड़ाए थे। 26 जुलाई 1999 के दिन भारतीय सेना ने कारगिल युद्ध के दौरान चलाए गए आपरेशन विजय को अंजाम देकर भारत ने पाकिस्तान से विजय हासिल की थी। उन्हीं की याद में हर साल 26 जुलाई को कारगिल विजय दिवस मनाया जाता है। कोरबा क्षेत्र के कई जाबांज सिपाहियों ने दुश्मनों का डटकर मुकाबला कर अपने साहस का परिचय दिया था और उनकी वीरता के लिए केंद्र और राज्य सरकार ने उन्हें विशेष सम्मान से पुरस्कृत किया। इनमें कोरबा के दर्री में रहने वाले पूर्व सैनिक व कारगिल योद्धा प्रेमचंद पांडेय भी शामिल हैं।

विजय दिवस पर शासकीय ईवीपीजी कालेज में आनलाइन परिचर्चा भी आयोजित की गई थी। कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए पीजी कालेज के प्राचार्य डा आरके सक्सेना ने शपथ भी दिलाई। डा सक्सेना ने कारगिल युद्ध के बारे में विस्तार से बताया और विद्यार्थियों को देश सबसे ऊपर रखते हुए उनकी रक्षा के लिए अपना सर्वस्व समर्पित करने हर क्षण तैयार रहने को प्रेरित किया। ईवीपीजी कालेज के एनसीसी अधिकारी डा संजय यादव ने कहा कि देश की सरहद पर सीना ताने खड़े सेना के फौजी का साहस ही है, जो हम यहां अपने घरों में चैन की सांसे ले रहे, खुशियां मना रहे और परिवार के साथ सुरक्षित महसूस कर रहे।

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