जलाशय के लिए दी जमीन, 15 साल बाद भी मुआवजा का इंतजार
कोरबा। विकासखंड पाली के मसाहती ग्राम मसुरिहा पंचायत मुरली में जल संसाधन विभाग ने 25 कृषकों की उपजाऊ भूमि को अधिग्रहित किया है। इस पर मसुरिहा जलाशय का निर्माण किया गया है। जलाशय निर्माण को 15 वर्ष हो चुका है। 15 वर्ष बाद भी किसी कृषक को मुआवजा प्रदान नहीं किया गया है। इसे लेकर भाजपा कोरबा क्षेत्र जिला उपाध्यक्ष (पिछड़ा वर्ग) उत्तम पटेल के नेतृत्व में प्रभावित किसानों ने कलेक्टर से मुआवजा प्रदान करने की मांग की है।
भाजपा नेता पटेल का कहना है कि प्रभावित कृषकों की भूमि को अर्जित किया गया है। इस संबंध में अनेकों बार आवेदन निवेदन किया जा चुका है। विगत 1 वर्ष पूर्व कलेक्टर के माध्यम से मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन भी सौंपा जा चुका है, परंतु आज तक प्रभावित किसानों को मुआवजा राशि प्रदान नहीं किया गया है। ग्राम मसुरिहा विधानसभा क्षेत्र कटघोरा ग्रामीण व आदिवासी बाहुल्य क्षेत्र है। मसाहती ग्राम होने से उसका नक्शा भी नहीं है। उसके बाद भी राज्य शासन ने आदिवासी कृषकों की भूमि को मसुरिहा जलाशय के लिए अधिग्रहित कर लिया है। कृषक अपनी भूमि का उचित मुआवजा पाने लगातार शासन-प्रशासन का चक्कर काट रहे हैं। इस संबंध में प्रभावित कृषक पूर्व में आंदोलन भी कर चुके हैं। उसके बाद भी शासन-प्रशासन की ओर से सार्थक पहल नहीं की गई। भाजपा नेता का कहना है कि मसुरिहा के लोग गरीब, आदिवासी, अशिक्षित व भोले-भाले ग्रामीण हैं। यहां के किसानों के पास खेती के अलावा आय का अन्य कोई साधन नहीं है। इसी कड़ी में कृषकों की ओर से उनकी समस्याओं को लेकर उत्तम पटेल ने कलेक्टर को ज्ञापन सौंपते हुए शीघ्र मुआवजा प्रदान करने की मांग की है।