कलेक्टर की दो टूक : खदानों से कोयला चोरी रोकना सी आई एस एफ की जिम्मेदारी
*खदानों में अवैध इंट्री एग्जिट पॉइंट्स पर बल लगा कर निगरानी के निर्देश*
*सी आई एस एफ और कोल संस्थानों के अधिकारियों की बैठक*
कोरबा 28 फरवरी। कलेक्टर श्रीमती रानू साहू ने आज यह स्पष्ट कर दिया कि एस ई सी एल की खदानों से कोयला चोरी रोकने की पूरी जिम्मेदारी सुरक्षा में लगी सी आई एस एफ की है।
उन्होंने आज कलेक्टोरेट सभाकक्ष में पुलिस कप्तान श्री भोजराम पटेल की मौजूदगी में कोल संस्थानों के अधिकारियों की महत्वपूर्ण बैठक ली। इस बैठक में कलेक्टर ने सख्त रुख इख्तियार करते हुए कहा कि सी आई एस एफ खदानों की सुरक्षा के लिए तैनात है। सी आई एस एफ के पास पर्याप्त सैनिक बल भी है । ऐसे में खदानों से कोयला चोरी को रोकने के लिए उचित व्यवस्था की जिम्मेदारी भी सुरक्षा एजेंसी की है। श्रीमती साहू ने खदानों में अवैध रूप से बन गए इंट्री और एग्जिट पॉइंट्स पर सी आई एस एफ के जवान तैनात कर कोयला चोरो पर कड़ी करवाई करने के निर्देश भी बैठक में दिए। उन्होंने यह भी कहा कि कोयला चोरी-डीजल चोरी से जिले में कानून व्यवस्था की स्थिति बिगड़ने पर भी सख्ती से निपटा जाएगा।
कलेक्टर ने खदानों से कोयला चोरी होने की शिकायतों पर संज्ञान लेते हुए कोयला प्रबंधकों और सुरक्षा व्यवस्था में लगे सीआईएसएफ सुरक्षा बल के अधिकारियों की बैठक बुलाई थी। उन्होंने बैठक में बताया कि कोल माईन्स रेगुलेशन एक्ट 1957 के तहत कोयला खदानों में सुरक्षा व्यवस्था सुनिश्चित करने की जिम्मेदारी संबंधित कोयला संस्थानों की होती है। कलेक्टर ने खदानों को चारों ओर से सुरक्षित रखने और खदानों पर आवश्यक निगरानी करने के भी निर्देश दिए साथ ही खदानों से कोयला चोरी करते हुए पकड़े गये लोगों पर पुलिस से समन्वय कर कानूनी कार्रवाई करने को कहा। बैठक के दौरान एसईसीएल कोरबा, गेवरा, दीपका एवं कुसमुंडा के अधिकारीगण सहित सीआईएसएफ और त्रिपुरा रायफल्स के कमांडेन्ट भी मौजूद रहे।