लिविंग आफ् रिलेशनशिप हमारे परिवार और समाज के लिए दुर्भाग्यपूर्ण है : अर्चना उपाध्याय
गेवरा। छत्तीसगढ़ राज्य महिला आयोग की सदस्य अर्चना उपाध्याय ने महिला उत्पीड़न लैंगिक शोषण घरेलू हिंसा और लिव-इन रिलेशनशिप जैसे तमाम मुद्दों पर अपनी बात रखते हुए महिलाओं पर हो रहे अत्याचार पर प्रकाश डाला और कहां की छत्तीसगढ़ हमारा अल्प विकसित क्षेत्र है यदि किसी महिला के साथ सामाजिक या घरेलू उत्पीड़न रहा है तो छत्तीसगढ़ महिला आयोग उस महिला को न्याय दिलाने त्वरित कार्रवाई कर रही हैै महिला आयोग ने एक माह के भीतर या पहली दूसरी सुनवाई में ही महिला को उचित न्याय दिलाने का प्रयास किया गया है जो कि पहले यदि किसी महिला के साथ घरेलू हिंसा या अत्याचार होता था तो कानूनी प्रक्रिया में सालों गुजर जाता था जो कि अब महिला आयोग में शिकायत आने पर त्वरित संज्ञान लेकर महिला को न्याय दिलाया जा रहा है।
इन्होंने लिविंग ऑफ रिलेशनशिप को हमारे समाज और परिवार के लिए दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए कहा यहां आयोग के पास सबसे ज्यादा केस लिविंग ऑफ रिलेशनशिप का है इस कार्य में महिला और पुरुष दोनों प्रभावित हो रहे हैं आज महिलाएं ही महिला होकर लव मैरिज के बहकावे में आकर एक दूसरे के परिवार को बर्बाद कर रही हैं जो कि उचित नहीं है।
ऐसे केस आने पर आयोग द्वारा महिला को नारी निकेतन केंद्र भेजकर 4-6 माह रखकर ब्रेनवाश किया जाता है। छत्तीसगढ़ महिला आयोग में ऐसे कई केस सुलझा कर लोगों के परिवार को बचाया गया है।
उक्त कार्यक्रम के माध्यम से संगठन ने दीपका में स्कूली बच्चों के लिए निबंध और स्लोगन प्रतियोगिता का आयोजन कर प्रतिभागी बच्चों को मुख्य अतिथियों के हाथों प्रमाण पत्र देकर सम्मानित भी किया जिसमें निबंध प्रतियोगितामें जूनियर एवं सीनियर वर्ग से मिडिल स्कूल बींझरा इंडस पब्लिक स्कूल, सरस्वती शिशु मंदिर,डीएवी पब्लिक स्कूल, सेंट थॉमस पब्लिक स्कूल दीपका एवं शासकीय बालक उच्चतर माध्यमिक विद्यालय विजय नगर के बच्चे सम्मिलित हुए।
कार्यक्रम में उपस्थित अतिथियों ने मानव अधिकार के बारे में अपने विचार व्यक्त किए जिसमें मुख्य अतिथि के रूप में एस.भाटी महाप्रबंधक (खनन) गेवरा प्रोजेक्ट ने अपने विचार रखते हुए कहा कि बच्चों को मानव अधिकार विषय पर निबंध एवं स्लोगन प्रतियोगिता के माध्यम से उनमें अपने अधिकारों के बारे में जागरूकता लाने का सोशल फोरम ऑन ह्यूमन राइट्स द्वारा उत्कृष्ट कार्य किया गया है। विशिष्ट अतिथि तौर पर नौशाद खान ब्यूरो चीफ नवभारत, लक्ष्मी चौहान समाजसेवी, बीता चक्रवर्ती व चंद्रबाला शुक्ला बाल कल्याण समिति ने भी अपने विचार प्रस्तुत किए। इंडस स्कूल के प्राचार्य संजय गुप्ता, बिंझरा के प्रधानाचार्य सर्वेश सोनी ने भी मानवाधिकार के बारे में बताया। इंडस स्कूल के छात्र छात्राओं ने मनमोहक नृत्य एवं नाटक प्रस्तुत कर किया।
संगठन से राष्ट्रीय महासचिव मो.वहीद सिद्धीकी, राष्ट्रीय संयुक्त सचिव एचके पासवान, प्रदेश अध्यक्ष गणपत चौहान, महासचिव तनवीर अहमद, जेके शर्मा तथा अन्य राज्यों से आए प्रतिनिधियों ने भी अपने विचार रखे। इस कार्यक्रम को सफल बनाने में सुजीत श्रीवास्तव, हेमचंद्र सोनी, सुशील तिवारी, साज़ी थॉमस, अभिषेक चरण, दुर्गेश ठाकुर, तारकेश्वर मिश्रा, पंकज सिंह, मुकेश सिंह, जावेद खान, राजेश सिंह, अब्दुल रहमान, संजीव ठाकुर, रणधीर, सिरताज कुरैशी का विशेष योगदान रहा।