November 8, 2024

रोजगार की मांग को लेकर जीएम कार्यालय का किया गया घेराव

0 भू-विस्थापितों और स्थानीय बेरोजगारों ने किया धरना प्रदर्शन
कोरबा। छत्तीसगढिय़ा क्रांति सेना के बैनर तले सैकड़ों भू-विस्थापित और स्थानीय बेरोजगारों ने एसईसीएल के जीएम कार्यालय का घेराव कर दिया। वे कार्यालय के बाहर धरना प्रदर्शन करते हुए जमकर नारेबाजी करते रहे। उनके आक्रोश को देखते हुए दफ्तर के मुख्य द्वार को बंद करना पड़ा। प्रबंधन की ओर से खदान के ठेका कंपनियों में स्थानीय बेरोजगारों को प्राथमिकता के साथ नौकरी देने का लिखित आश्वासन दिया गया, तब कहीं जाकर आंदोलन समाप्त हो सका।
दरअसल एसईसीएल प्रबंधन ने मानिकपुर खदान के लिए जमीन का अधिग्रहण किया है। इसमें दादरखुर्द, ढेलवाडीह, भिलाईखुर्द सहित करीब आधा दर्जन गांव शामिल हैं। जमीन अधिग्रहण से प्रभावित गांव के ग्रामीण लंबे अर्से से आउटसोर्सिंग से होने वाले काम में रोजगार की मांग करते आ रहे हैं। बीते दिनों भी भू-विस्थापितों ने प्रबंधन के सामने रोजगार की मांग रखी थी। इस दौरान ठेका कंपनी में काम देने का आश्वासन दिया गया था, लेकिन कलिंगा नामक ठेका कंपनी ने भू-विस्थापित और स्थानीय बेरोजगारों की अनदेखी करते हुए दीगर प्रांत से मजदूर ले आया। इन मजदूरों को खदान के भीतर कैंप में रखा गया था, जिसकी जानकारी होने पर भू-विस्थापित कैंप तक जा पहुंचे। घटना के बाद पुलिस ने कंपनी के कर्मचारी की शिकायत पर भू-विस्थापितों के खिलाफ जुर्म भी दर्ज कर लिया। घटना के बाद छत्तीसगढ़िया क्रांति सेना ने भू-विस्थापित और स्थानीय बेरोजगारों को रोजगार की मांग को लेकर 27 दिसंबर को जीएम कार्यालय घेराव का एलान कर दिया था। पूर्व निर्धारित कार्यक्रम में अनुसार सीकेएस के प्रदेश मंत्री दिलीप मिरी और जिला अध्यक्ष अतुल दास महंत के नेतृत्व में सैकड़ों लोग मानिकपुर खदान के समीप जीएम कार्यालय जा पहुंचे। उन्होंने कार्यालय के मुख्य द्वार में धरना प्रदर्शन शुरू कर दिया। इस दौरान जमकर नारेबाजी करने लगे। उनका आक्रोश देख प्रबंधन को पहल करनी पड़ी। दोपहर करीब तीन बजे प्रबंधन की ओर से जवाबदार अफसर मौके पर पहुंचे। उन्होंने संगठन के पदाधिकारियों से चर्चा की। तत्पश्चात कलिंगा सहित तमाम ठेका कंपनियों में भू-विस्थापित और स्थानीय बेरोजगारों को प्राथमिकता के साथ नौकरी देने का लिखित आश्वासन दिया, तब कहीं जाकर आंदोलन समाप्त हो सका। आंदोलन में प्रमुख रूप से प्रदेश मंत्री मिरी व जिलाध्यक्ष महंत के अलावा प्रदेश संगठन मंत्री सुरेंद्र राठौर, जिला संयोजक जैनेंद्र कुर्रे, महिला क्रांति सेना के जिला अध्यक्ष विमला उपस्थित थे।

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