दरिद्र ब्राम्हण से मित्रता निभाकर कृष्ण ने दुनिया को सच्ची मित्रता का दिया संदेश : राहुल कृष्ण
0 पं. रविशंकर शुक्ल नगर में राठौर परिवार आयोजित श्रीमद् भागवत कथा का विराम
0 31 दिसंबर को होगा भोग-भंडारा
कोरबा। पंडित रविशंकर शुक्ल नगर सेंट पैलाटी स्कूल के समाने में राठौर परिवार द्वारा आयोजित श्रीमद् भागवत कथा के अंतिम दिन ख्यातिलब्ध कथा वाचक राहुल कृष्ण महाराज के श्रीमुख से भगवान कृष्ण की लीला और कृष्ण-सुदामा के बीच अकाट्य मित्रता का वर्णन करते हुए कथा पर विराम लगाया। महाराज के श्रीमुख से निकल रही भगवत कथा सुनने अंतिम दिन हजारों की संख्या में श्रद्धालु जुटे और कृष्ण-सुदामा मित्रता का संदेश ग्रहण किया।
राहुल कृष्ण ने संगीतमय कथा के माध्यम से बताया कि भगवान श्री कृष्ण ने एक दरिद्र ब्राम्हण के अनाज के एक दाने का मोल चुकाया और सुदामा की दरिद्रता दूर कर उसे जीवन का वैभव प्रदान किया। उन्होंने बताया कि किस तरह से भगवान श्री कृष्ण ने बचपन की मित्रता को सुदामा के चौथेपन में चुकाया। राहुल कृष्ण महाराज ने कृष्ण-सुदामा चरित्र के माध्यम से बताया कि मित्रता हो तो ऐसी, जैसी कृष्ण और सुदामा की थी। उन्होंने कहा कि भगवान को भोग कैसे भी लगाओ, मन में भाव पूर्ण होना चाहिए। सुदामा की पत्नी ने भगवान कृष्ण को अनाज का एक दाना खिलाया, उसी में भगवान कृष्ण प्रसन्न हुए और सुदामा को जीवन का हर वैभव प्रदान किया। उन्होंने कहा कि जीवन में संघर्ष करना मत छोड़ो, इसका प्रतिफल आज नहीं तो कल सुखद भविष्य के रूप में अवश्य मिलेगा। मित्रता करना सरल है, लेकिन इसे निभाना कठिन है। सुख में न सही दुख में मित्रता की परीक्षा होती है और जो परीक्षा में पास हो जाता है, वही सच्चा मित्र होता है।
उन्होंने उपस्थितों को कथा श्रवण कराते हुए कहा कि बच्चों में संस्कार का बीज बोएं, क्योंकि शिक्षा संस्कार के बिना अधूरी है और संस्कारवान शिक्षित बच्चे ही समाज और राष्ट्र का भला कर सकते हैं। उन्होंने बच्चों को संबोधित करते हुए कहा कि प्यारे बच्चों, मित्रता सोच समझकर करो और उसे आजीवन निभाओ। उन्होंने अंत में कहा कि सभी ग्रंथों का मूल है श्रीमद् भागवत कथा और इसका श्रवण करने से जीवन में ज्ञान तो आता ही है, यह कथा जीवन की कार्यशैली को सनातन भी बनाती है। 24 दिसंबर से 31 दिसंबर तक चलने वाली श्रीमद् भागवत कथा पर विराम लगने के बाद आचार्य ने सभी को भोग भंडारे में आमंत्रित किया है। कल दोपहर 1 बजे ब्राम्हण भोज एवं भोग भंडारा का आयोजन सेटं पैलाटी स्कूल के समाने में किया गया है। वहीं क्रार्यक्रम में लखन लाल देवागनं कैबिनेट मंत्री ने कथा के आयोजन पहुंचकर आशीर्वाद लिया। राठौर परिवार के मुख्य यजमान के रूप में तुलाराम राठौर व लक्ष्मी बाई तथा कृष्ण राठौर व रमा राठौर सपत्निक सहित अपनी अहम भूमिका निभाई।