एटक ने बाल्को प्रबंधन की मजदूर विरोधी नीतियों के खिलाफ एवं निम्न मांगों को लेकर एक दिवसीय आमसभा कर किया धरना प्रदर्शन
कोरबा। एल्युमिनियम एम्पलाइज यूनियन (एटक) के द्वारा बाल्को प्रबंधन की मजदूर एवं श्रम विरोधी नीतियों के खिलाफ 31 जुलाई को आमसभा कर धरना प्रदर्शन किया गया। इस दौरान वक्ताओं ने कहा कि भारत अल्युमिनियम कंपनी लिमिटेड (बाल्को) को आज 60 वर्ष हो गए हैं।इस कंपनी में हजारों की संख्या में बालको कर्मचारी एवं ठेका श्रमिक काम करते हैं। बाल्को में एल्युमिनियम उत्पादन के साथ-साथ विद्युत का भी उत्पादन किया जाता है। कंपनी की उन्नति, उत्पादन एवं आमदनी में बढ़ोतरी हो रही है लेकिन इसमें काम करने वाले कर्मचारियों का स्तर गिरते ही चले जा रहा है। चाहे वह वेतन हो, सामाजिक सुरक्षा हो, स्वास्थ्य हो। कहा गया कि प्रबंधन का ध्यान इन सब बातों की तरफ ना जाकर सिर्फ अपने बारे में सोचते हैं,अपने प्रमोशन के बारे में सोचते हैं बाकी यहां काम करने वाले कर्मचारियों के बारे में नहीं सोचते। कारखाने में कर्मचारियों की समस्याओं पर ध्यान नहीं दिया जा रहा है और प्रबंधन विश्व से अवार्ड बटोरने में लगा रहता है। बाल्को प्रबंधन की मजदूर विरोधी नीतियों के खिलाफ एवं निम्न मांगों को लेकर एक दिवसीय विशाल धरना प्रदर्शन/आम सभा कर प्रबंधन को सचेत किया गया है कि अगर प्रबंधन मांगों को नहीं पूरा करता है तो आंदोलन का विस्तार करते हुए अनिश्चित कालीन धरना प्रदर्शन, क्रमिक भूख हड़ताल किया जाएगा।
*0 3 घण्टे चली वार्ता विफल*
आम सभा से पहले सहायक श्रम आयुक्त के पास प्रबंधन के साथ त्रिपक्षीय वार्ता हुई। लगभग तीन घण्टे की बैठक में किसी भी प्रकार की सहमति नहीं बनी जिसके कारण संगठन को आंदोलन में जाने के लिए विवश होना पड़ा। एटक के राष्ट्रीय सचिव एम एल रजक ,एल्युमिनियम एम्पलाईज यूनियन (एटक) के अध्यक्ष एसके सिंह, महासचिव सुनील सिंह उपाध्यक्ष धर्मेंद्र तिवारी ,सचिव मनीष नाग, उपाध्यक्ष पी के वर्मा, संतोषी बरेठ, विजयलक्ष्मी चौहान, मन्नू लाल लठिया, आलेख मालिक, लालमन सिंह एवं अन्य वक्ताओं ने कर्मचारियों को संबोधित किया। इस आम सभा में 300 से ज्यादा लोग अपनी जागरूकता एवं एकता का परिचय देते हुए शामिल हुए।
12 सूत्री मांगे
1) एलटीएस में शामिल ठेका कर्मचारियों को सालाना वेतन वृद्धि पूर्व अनुसार 12% दिया जाए।
2) प्रमोशन के लिए बचे हुए ठेका कर्मचारियों को जनरल प्रमोशन किया जाए।
3) बालको में कार्यरत नॉन एलटीएस के ठेका कर्मचारीयो को कुछ लोगों को कैंटीन अलाउंस दिया जाता है और कुछ को नहीं दिया जाता है कर्मचारियों के बीच इस तरह का भेदभाव करना बंद कर, और सभी को कैंटीन अलाउंस दिया जाए।
4) बालकों में कार्यरत नॉन एलटीएस के सुपरवाइजर को जिस तरह इंसेंटिव के रूप में अलग से राशि दी जाती है उसी प्रकार नॉन एलटीएस के श्रमिकों को सलाना वेतन वृद्धि या इंसेंटिव के रूप में अलग से राशि दिया जाए।
5) नियोक्ता द्वारा ठेका कर्मचारियों का किए गए हेल्थ इंश्योरेंस में माता-पिता का भी नाम जोड़ा जाए एवं बालकों अस्पताल में ओपीडी दिया जाए।
6) ठेकेदारी प्रथा खत्म कर 5 साल से ज्यादा काम कर चुके ठेका कर्मचारियों को नियमित किया जाए।
7) बालकों में कार्यरत ठेका कर्मचारियों को भी प्रोडक्शन इंस्टेंटिव दिया जाए।
8) ठेका कर्मचारियों के हुए एलटीएस 2 में कैंटीन अलाउंस, कन्वेंस अलाउंस, हाउस रेंट अलाउंस , में किसी प्रकार का बढ़ोतरी नहीं किया गया इन सभी अलाउंस में बढ़ोतरी किया जाए।
9) प्रोजेक्ट में नियोजित श्रमिकों को प्रतिमाह वेतन पर्ची , ओटी दूने दर पर, वेतन समय पर एवं ई एस आई कार्ड दिया जाए।
10) ऑपरेशन एवं प्रोजेक्ट में स्थानीय महिला पुरुषों की भर्ती की जाए।
11) बालकों में संयंत्र विस्तार होने के कारण भारी वाहनों की आवक बढ़ गई है ड्यूटी आते जाते समय में नो एंट्री लगाया जाए
12) वर्ष 2022 अप्रैल से एलटीएस में शामिल किए गए ठेका कर्मचारियों को उनके वेतन का सही गणना कर केटेगरी दिया जाए।