November 7, 2024

विश्वकर्मा जयंती को राष्ट्रीय श्रम दिवस के रूप में मनाया

कोरबा 19 सितम्बर। भारतीय मजदूर संघ जिला कोरबा द्वारा जिला स्तर पर राष्ट्रीय श्रम दिवस के रूप में मनाया गया। इस दौरान पहली बार बाईक व कार के साथ शोभायात्रा निकाली गई। संगोष्ठी को संबोधित करते हुए राष्ट्रीय पर्यावरण मंच प्रभारी लक्ष्मण चंद्रा ने कहा कि भारतीय मजदूर संघ ही ऐसा संघ है जो कि विश्वकर्मा जयंती को राष्ट्रीय श्रम दिवस के रूप में मनाता है। भामसं सिर्फ श्रमिकों का संगठन नहीं है यह सामाजिक व पारिवारिक संगठन है जिसका उद्देश्य राष्ट्र हित प्रथम होता हैए फिर उद्योग हित और अंत में श्रमिक हित होता है।

भारतीय कोयला खदान मजदूर संगठन बीकेकेएमएस के एसईसीएल स्थित कार्यालय में आयोजित संगोष्ठी के प्रारंभ में भारत माताए दत्तोपंत ठेंगड़ी व भगवान विश्वकर्मा के तैल चित्रों के समक्ष पूजा अर्चना व दीप प्रज्वलन कर किया गया। अतिथियों के परिचय उपरांत जिला उपाध्यक्ष सुरेश साहू ने संघ गीत गाया। भामसं के राष्ट्रीय कार्यसमिति सदस्य व राष्ट्रीय पर्यावरण मंच के प्रभारी लक्ष्मण चंद्रा, प्रदेश उद्योग प्रभारी राधेश्याम जायसवाल, बीकेकेएमएस के अध्यक्ष टिकेश्वर सिंह राठौर, महामंत्री अशोक सूर्यवंशी, बाल्को के अध्यक्ष रामलाल चंद्रा, हरीश सोनवानी, बिजली कर्मचारी संघ महासंघ के अध्यक्ष सीएस दुबे के आतिथ्य व भामसं जिला अध्यक्ष शरद नायर के अध्यक्षता में राष्ट्रीय श्रम दिवस पर संगोष्ठी कार्यक्रम आयोजित किया गया। कार्यक्रम का संचालन जिला मंत्री नवरतन बरेठ ने किया। पर्यावरण मंच प्रभारी चंद्रा ने कहा कि वर्तमान समय में भारतीय मजदूर संघ विश्व में सबसे बड़ा श्रमिक संगठन बन गया है। उन्होंने पर्यावरण के बारे में कहा भामसं के कार्यकर्ता को चाहिए कि हाट बाजार या कहीं भी कोई भी प्लास्टिक, पालिथिन का उपयोग करता है तो उसे समझाते हुए बिल्कुल मना करना चाहिए व पर्यावरण प्रदूषण के बारे में हमें सजग रहना चाहिए। संगोष्ठी कार्यक्रम को अन्य वक्ताओं ने भी संबोधित किया।

इसके पहले भामसं से संबंध सभी उद्योग, महासंघ यूनियन के कार्यकर्ता व प्रतिनिधि इंदिरा स्टेडियम टीपी नगर में एकत्रित होकर कार, बाइक के साथ रैली. शोभायात्रा निकाली गई। रैली नगर के विभिन्न मार्गों टीपी नगर चौक, सीएसईबी चौक, बुधवारी, घंटाघर, निहारिका सुभाष चौक, कोसाबाड़ी के वापस होकर घंटाघर से मुड़ापार बाजार होते हुए भारतीय कोयला मजदूर संगठन कार्यालय मुड़ापार कोरबा में समाप्त हुई।

Spread the word